पेप्सिको इंडिया ने लॉन्च किया रेवोल्यूशनारी, नारी के लिए एक क्रांति


• आर्थिक आजादी के साथ जिंदगी जीने के लिए 1 मिलियन भारतीय महिलाओं को बनाएगा सशक्त

• यह प्रयास ‘पार्टनरशिप ऑफ प्रोग्रेस’ को विकसित करने के पेप्सिको इंडिया के सिद्धांत के अनुरूप है। यह सिद्धांत समुदाय की सामूहिक भलाई के लिए सहयोगी दृष्टिकोण पर जोर देता है।

• इसका उद्देश्य संगठनों के एक कंसोर्टियम के साथ साझेदारी करके सही कैरियर चुनने के लिए जागरूकता पैदा करके, रोजगार के काबिल बनाने के लिए कौशल विकास करके और भारत भर में महिलाओं को नौकरी के अवसर प्रदान करते हुए राष्ट्रीय स्तर पर प्रभाव उत्पन्न करना है। 

• तीन साल के रणनीतिक रोडमैप के साथ, रेवोल्यूशनारी पेप्सिको इंडिया की स्त्री पुरुष के बीच अंतर को पाटने की प्रतिबद्धता की दिशा में उठाया गया एक खास कदम है। इस प्रयास के साथ यह देश के आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान करेगा। 

शब्दवाणी समाचार, शनिवार 22 जून 2024, सम्पादकीय व्हाट्सप्प 8803818844, नई दिल्ली। दुनिया की अग्रणी कंज्यूमर पैकेज्ड गुड्स कंपनी पेप्सिको इंडिया ने आज रेवोल्यूशनारी - नारी के लिए एक क्रांति को लॉन्च करने की घोषणा की है। 1,000 दिनों तक चलने वाले इस प्रयास का उद्देश्य संगठनों के कंसोर्टियम के साथ मिलकर में देश भर में 1 मिलियन महिलाओं को सशक्त बनाना है। जागरूकता पैदा करने पर केंद्रित यह कार्यक्रम महिलाओं को पूरी जानकारी के साथ कैरियर संबंधी निर्णय लेने में मदद करेगा। साथ ही यह रोजगार प्राप्त करने की उनकी क्षमता को बेहतर बनाने के लिए उन्हें कौशल विकास के अवसर प्रदान करेगा। इसके अलावा यह एफएमसीजी सेक्टर के विभिन्न स्तरों पर सेल्स, मैन्युफैक्चरिंग और कृषि जैसी गैरपरंपरागत भूमिकाओं में नौकरी की बेहतर संभावनाएं पेश करने के लिए प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष अवसर उपलब्ध कराएगा। समुदाय की सामूहिक भलाई के लिए एक सहयोगी दृष्टिकोण पर जोर देने वाले ‘पार्टनरशिप ऑफ प्रोग्रेस’ पर केंद्रित पेप्सिको इंडिया के सिद्धांतों पर चलते हुए, बदलाव लाने वाला यह कार्यक्रम पूरे भारत में कार्यशील लोगों के बीच स्त्री और पुरुष के भेद को खत्म करेगा। 

रेवोल्यूशनारी पेप्सिको इंडिया के पेप+ (पेप्सिको पॉजिटिव) फिलॉसफी पर आधारित है। यह प्रयास सीधे तौर पर इसके प्रमुख स्तंभों - पॉजिटिव एग्रीकल्चर और पॉजिटिव वैल्यू चेन से जुड़ा हुआ है। ये स्‍तंभ पर्यावरण और समुदायों पर सकारात्मक प्रभाव डालने के लिए कंपनी के भविष्य के प्रयासों को दिशा प्रदान करते हैं। पॉजिटिव एग्रीकल्चर की बात करें तो इसका उद्देश्य महिलाओं के सशक्तिकरण पर ध्यान केंद्रित करते हुए कंपनी की एग्रीकल्चर सप्लाईचेन और समुदायों के लोगों की आय को बढ़ाना है। वहीं पॉजिटिव सप्लाई चेन का उद्देश्य कंपनी के विविधता, समानता और समावेशन के एजेंडे पर चलते हुए महिलाओं की रोजगार प्राप्त करने की क्षमता को बढ़ाने के लिए डिग्री, वोकेशनल ट्रेनिंग, स्किल डेवलपमेंट प्रोग्राम उपलब्ध कराना है।

जागृत कोटेचा, चीफ एग्जिक्यूटिव ऑफीसर, पेप्सिको इंडिया और साउथ एशिया ने कहा रेवोल्यूशनारी को लॉन्च करते हुए हम बेहद गर्व का अनुभव कर रहे हैं। यह समुदायों को सशक्त बनाने, पॉजिटिव एग्रीकल्चर और पॉजिटिव सप्लाई चेन का निर्माण करने की हमारी पेप+ (पेप्सिको पॉजिटिव) फिलॉसफी को मूर्त रूप प्रदान करता है। सावधानीपूर्वक तैयार की गई तीन साल की रणनीति के माध्यम से, हमारा लक्ष्य पूरे भारत में गैर-पारंपरिक भूमिकाओं में महिलाओं के लिए नौकरी की संभावनाओं को बढ़ाना है। इसी के साथ ही हमारा लक्ष्य भविष्य को ध्यान में रखते हुए विकास करने और लिंग आधारित समानता के लिए एक समान विचारधारा वाले संगठनों के साथ साझेदारी करते हुए विकास की गति को तेज करना है। पेप्सिको इंडिया सकारात्मक बदलाव लाने के लिए विविधता और समावेश की ताकत को पहचानता है। हमारा मानना है कि महिलाओं में निवेश करते हुए, हम अपने देश के लिए एक समावेशी भविष्य में निवेश कर रहे हैं।

लॉन्च के बारे में बात करते हुए पवित्रा सिंह, सीएचआरओ, पेप्सिको इंडिया एंड साउथ एशिया ने कहा रेवोल्यूशनारी - नारी के लिए एक क्रांति का लॉन्च, पेप्सिको इंडिया की विविधता, समानता और समावेश के लिए बीते एक दशक की प्रतिबद्धता में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। हमने भारत में 1 मिलियन महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए एक महत्वाकांक्षी सफर की शुरुआत की है। इसके तहत महिलाओं के समग्र विकास में उनकी मदद की जाएगी, साथ ही सफलता हासिल करने के लिए उन्हें सही राह चुनने में सहायता की जाएगी। हमारा ध्यान सिर्फ अवसर प्रदान करने तक सीमित नहीं है, बल्कि हमारा लक्ष्य समाज में महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण और उनका समर्थन करने के तरीकों में एक मौलिक बदलाव लाने पर जोर देना है। रणनीतिक हस्तक्षेप और ठोस प्रयासों के माध्यम से, हम गैरपरंपरागत भूमिकाओं में अधिक न्यायसंगत अवसरों की नींव रख रहे हैं, जिससे पूरे भारत में महिलाओं की आजीविका में वृद्धि हो रही है। भारत की तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था में महिलाओं का प्रतिनिधित्व काफी कम है। इसे देखते हुए, पेप्सिको इंडिया ने एक दशक पहले संभावना को पहचाना और कार्यस्थल पर सभी को एक समान अवसर प्रदान करने के लिए यह लोकप्रिय कार्यक्रम तैयार किया। रेवोल्यूशनारी भारत के कार्यबल में लिंग आधारित अंतर को पाटने के लिए कंपनी की प्रतिबद्धता की दिशा में एक और कदम है। इन प्रयासों के जरिए कंपनी देश के आर्थिक विकास में योगदान दे रही है।

रेवोल्यूशनारी के पहले चरण में, पेप्सिको इंडिया भारत के 100 शहरों में STEM और कृषि सहित कई विषयों में स्नातक महिलाओं, वंचित महिलाओं और सीनियर सेकेंडरी स्कूल के महिला छात्रों को टार्गेट कर रहा है। साझेदार संगठनों और अग्रणी कॉरपोरेट्स के साथ मिलकर, कंपनी अपने रेवोल्यूशनारी कैंपेन को अधिक प्रभावशाली बनाने के लिए सामूहिक विशेषज्ञता और संसाधनों का लाभ उठाएगी। अब तक, पेप्सिको इंडिया ने ईकोसिस्टम पार्टनर ऑर्गेनाइजेशन - निर्माण ऑर्गेनाइजेशन और द सोशल लैब फाउंडेशन को शामिल किया है। इसी के साथ ही, हायरिंग टेक पार्टनर के रूप में इंटर्नशाला को शामिल किया है, जो इस पहल के लिए समुदाय तक पहुंच बढ़ाने में मदद करेगा।  

इस परियोजना के तहत, कंपनी कई प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू कर रही है, जिसमें तकनीकी कौशल-निर्माण और इंटर्नशिप शामिल हैं। ये प्रोग्राम खास तौर पर मैन्युफैक्चरिंग और सेल्स जैसे क्षेत्रों में महिलाओं के लिए डिज़ाइन किए गए हैं। महिलाओं के बीच जागरूकता पैदा करना और प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष आजीविका के अवसर प्रदान करना इस रिवोल्यूशनारी कैंपेन का एक अहम हिस्सा है। विभिन्न जागरूकता एवं फ्रंटलाइन हायरिंग पहल जैसे लर्न टुडे गिव टुमॉरो (LTGT) प्रोग्राम, प्रबंधकीय और फ्रंटलाइन जॉब के लिए लेटरल हायरिंग प्रोग्राम और खास तौर पर युवा महिलाओं को सक्षम बनाने के लिए तैयार किए गए इंटर्नशिप कार्यक्रम 2026 तक पेप्सिको इंडिया में सभी स्तरों पर एक जैंडर-बैलेंस्ड वर्कफोर्स प्राप्त करने की दिशा में कार्य कर रहे हैं। इसके अलावा, असम स्किल डेवलपमेंट मिशन (ASDM) और डायरेक्टोरेट ऑफ इंप्लॉयमेंट एंड क्राफ्टमैनशिप ट्रेनिंग (DECT) के साथ एक त्रिपक्षीय एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए हैं। जिसके तहत असम में औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों की महिला छात्रों को पेप्सिको इंडिया में फ्रंट-लाइन प्लांट पदों के लिए योग्य महिलाओं का एक समूह तैयार किया जाएगा।

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